रेलवे स्टेशन पर घंटों इंतजार, गेट से सीट तक खचाखच भीड़, महाकुंभ आ रही ट्रेनों में लटककर पहुंचे श्रद्धालु
ग़ाज़ीपुर न्यूज़ टीम, वाराणसी. महाकुंभ में मौनी अमावस्या पर स्नान करने के लिए करोड़ों लोग पहुंचे हैं। प्रयागराज में हर जगह भीड़ नजर आ रही है। चारों तरफ से आने वाली ट्रेनें खचाखच भरी हुई थी। हालात ये थे कि गेट पर लटककर लोग प्रयागराज तक पहुंचे। ग़ाज़ीपुर न्यूज़ टीम प्रयागराज के आसपास के 6 जिलों वाराणसी, कानपुर, मुगलसराय, मिर्जापुर, जौनपुर, भदोही रेलवे स्टेशनों पर पहुंची। यात्रियों की मुश्किलों को समझा।
वाराणसी रेलवे स्टेशन पर सामान्य दिनों में 80 हजार यात्रियों की आवाजाही होती है। मगर, महाकुंभ शुरू होने के बाद हर दिन 1.5 लाख से 2 लाख लोग स्टेशन पर आ रहे हैं। मौनी अमावस्या के स्नान के लिए जाने वाले श्रद्धालुओं की प्लेटफार्म-1 से लेकर 4 तक भयंकर भीड़ लगी हुई थी। तभी सारनाथ-दुर्ग एक्सप्रेस के प्लेटफार्म नंबर 4 पर आने का ऐलान हुआ। ट्रेन दोपहर 12.20 की जगह 12.56 बजे पहुंची। प्लेटफार्म पर अफरा-तफरी का माहौल बन गया। पैदल पुल पर पैर रखने को जगह नहीं थी। ट्रेन रुकते ही, सिर पर झोला और बैग लादे लोगों ने रिजर्वेशन वाली बोगी के बंद दरवाजे पीटने शुरू कर दिए।
एक कोच का दरवाजा किसी तरह खुला तो यात्रियों में हाथापाई शुरू हो गई। जिन यात्रियों का रिजर्वेशन था, वो बेबस दिखे। हालात ये थे कि जनरल बोगी में लोग इमरजेंसी खिड़की से भी अंदर घुसते दिखे। प्रफुल्ल शुक्ला बिहार से आए हैं। काशी विश्वनाथ दर्शन के बाद सारनाथ-दुर्ग एक्सप्रेस के स्लीपर कोच से उन्होंने भिलाई जाना है। एक महीने पहले रिजर्वेशन कराया था। प्रफुल्ल ने बताया- सारनाथ एक्सप्रेस की बोगी नंबर एस-2 में मेरा और पत्नी का रिजर्वेशन है। ट्रेन आ गई है। मगर हम उसमें चढ़ नहीं पा रहे हैं। प्रयागराज जाने वाले दर्शनार्थी पहले से अंदर बैठे हुए हैं। क्या करें? अब हम समझ नहीं पा रहे हैं।
मुकुलानंद अपनी पत्नी के साथ कोलकाता से वाराणसी आए थे। रेलवे स्टेशन के प्लेटफार्म नंबर 4 से सारनाथ-दुर्ग एक्सप्रेस से अब प्रयागराज जाना था। बोगी M-1 के दरवाजे पर पहुंचकर वो बेबस हो गए। GRP और RPF के जवानों से बहस करने लगे। उन्होंने कहा- आप लोग कुछ नहीं कर पाए। अब आ रहे हैं, जब ट्रेन छूटने का टाइम हो गया। मुकुलानंद ने बताया- हमने प्रयागराज के लिए टिकट कराया था। यहां ट्रेन के सामने आए तो पहले तो दरवाजा नहीं खुला। फिर दरवाजा खुला तो उसमें वो लोग चढ़ गए, जिनका टिकट ही नहीं है।
कानपुर सेंट्रल रेलवे स्टेशन पर यात्री ट्रेन का इंतजार कर रहे थे। कामाख्या-आनंद विहार एक्सप्रेस ट्रेन आई, सभी कोच में यात्री भरे हुए थे, इसके बावजूद यात्रियों में कोच में चढ़ने के लिए होड़ मच गई।
ग़ाज़ीपुर न्यूज़ टीम ने यात्री ओमप्रकाश से बात की। उन्होंने कहा- मैं S4 बोगी में हूं। पूरी बोगी ठसाठस भरी हुई है। स्लीपर और जनरल बोगी में कोई फर्क नहीं रह गया है। प्रयागराज जाने के लिए यात्री किसी तरह से कोच में चढ़ने की कोशिश कर रहे हैं।
अनुज कुमार कालका एक्सप्रेस में चढ़ने के लिए AC कोच का दरवाजा खुलवाने की जद्दो-जहद करते नजर आए। पूछने पर कहा- जो यात्री पहले से अंदर हैं, उन्होंने गेट बंद कर रखे हैं। हमें भी प्रयागराज जाना है, मगर कैसे जाएं।
स्लीपर कोच में प्रयागराज जा रहे यात्री इनाउल ने कहा- ट्रेन में एक बार जहां पर बैठ गए, वहां से हिल पाना भी मुश्किल हो रहा है। नॉर्थ ईस्ट ट्रेन में सफर कर रहे सुशील पांडे ने कहा- मेरे पास रिजर्वेशन है, मगर ऐसा लग रहा है कि जनरल क्लास में सफर कर रहा हूं। बहुत परेशानी है। प्यास लगे तो पानी नहीं पी सकते। बाथरूम तक जाना भी मुश्किल है।
मुगलसराय स्टेशन पहुंची ग़ाज़ीपुर न्यूज़ टीम को यात्रियों ने बताया- ज्यादातर ट्रेनें 1 से 2 घंटा लेट चल रही हैं। महाकुंभ में मौनी अमावस्या पर स्नान करने जा रहे रवि यादव ने कहा- हमारी ट्रेन 30 मिनट लेट है, भीड़ बहुत भयंकर है। हर कोई महाकुंभ जा रहा है।
मुगलसराय के आशीष विश्वकर्मा कहते है- ट्रेनों में भीड़ ज्यादा है। 2 ट्रेन हम छोड़ चुके हैं। अब अगली ट्रेन का इंतजार कर रहे हैं। जाना तो है ही, हर हाल में प्रयागराज पहुंचेंगे।
भदोही स्टेशन पर प्रयागराज जाने के लिए पुजारी कनौजिया ट्रेन का इंतजार कर रहे थे। उन्होंने कहा- प्रयागराज जाना है, 30 मिनट से खड़े हैं। जो भी ट्रेन आ रही है, उसमें बैठने की जगह तक नहीं है। कोई दरवाजा तक नहीं खोल रहा है कि यात्री अंदर चढ़ सकें। ट्रेनें आ रही हैं, मगर सभी में भीड़ है।
बिहार से आए श्रद्धालु पंकज ने कहा- लोग भूसे की तरह ट्रेनों में भरे हुए हैं। बैठना छोड़िए, ट्रेनों में खड़े होने की जगह भी नहीं है। पवन एक्सप्रेस, अयोध्या स्पेशल और चौरीचौरा समेत कई ट्रेनें 5 से 7 घंटे की देरी से चल रही हैं। रेल प्रशासन यात्रियों को ट्रेन में चढ़ने के लिए पूरा समय दे रहा है।
मौनी अमावस्या पर स्नान के लिए रेलवे प्रशासन ने हर 30 मिनट पर मेला स्पेशल ट्रेनों का संचालन किया है। लेकिन भीड़ कम होने का नाम नहीं ले रही है।
15 से ज्यादा स्पेशल ट्रेन प्रयागराज कुंभ के लिए चलाई जा रही हैं। पं. दीनदयाल उपाध्याय जंक्शन से ही ट्रेनों के भरकर आने से यात्रियों को एंट्री नहीं मिल पा रही है। जीआरपी के जवान ट्रेन की बोगी खुलवाकर यात्रियों को किसी तरह प्रयागराज की ओर रवाना करने में लगे हैं।
ट्रेनों के अंदर बैठे लोगों ने बोगी के गेट बंद कर दिए। यात्रियों को दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। रिजर्व सीट होने के बावजूद मुंबई की ओर जाने वाले यात्रियों की ट्रेन छूट गई।
बक्सर से प्रयागराज जा रहे गोपाल कहते हैं- ट्रेनों में बिल्कुल जगह नहीं है। हम लोग बहुत परेशान हो गए हैं, मगर यात्रा तो करनी है।
मौनी अमावस्या के स्नान के लिए श्रद्धालुओं का जनसैलाब उमड़ा हुआ है। जौनपुर-प्रयागराज रूट पर चलने वाली सभी ट्रेनें खचाखच भरकर आ रही हैं।
प्रयागराज जाने वाली ट्रेनें 6-7 घंटे देरी से चल रही हैं। जौनपुर से प्रयागराज के लिए एक ट्रेन गोदान और एक इलाहाबाद-प्रयागराज पैसेंजर और दो जोड़ी स्पेशल ट्रेन चल रही हैं।
यात्री अनिकेत सिंह के कहा- शाम 6 बजे की ट्रेन में जगह पाने की आस में सुबह 11 बजे से ही स्टेशन पर पहुंच गए। भीड़ का आलम यह है कि यात्री एसी कोच से लेकर स्लीपर और गार्ड रूम तक में घुस रहे हैं। टिकट काउंटर पर यात्रियों के बीच धक्का-मुक्की की स्थिति बनी हुई है।
जौनपुर स्टेशन अधीक्षक ने बताया- बढ़ती भीड़ को देखते हुए रेल प्रशासन ने गोदान एक्सप्रेस के अलावा दो अतिरिक्त स्पेशल ट्रेनों की सेवाएं शुरू की हैं। मौनी अमावस्या स्नान के लिए भीड़ अधिक है। रेलवे प्रशासन यात्रियों की सुविधा के लिए विशेष इंतजाम कर रहा है, लेकिन अत्यधिक भीड़ के कारण व्यवस्था बनाए रखना चुनौतीपूर्ण हो रहा है।
प्रयागराज मंडल के PRO बोले- आउटर में ट्रेन न रोकनी पड़े, इसके अरेंजमेंट किए हैं, ऐसे में ग़ाज़ीपुर न्यूज़ टीम ने प्रयागराज मंडल के जनसंपर्क अधिकारी अमित सिंह से बात की।
उन्होंने कहा- प्रयागराज आने वाली रेगुलर ट्रेनों को आसपास के दूसरे स्टेशनों पर शेड्यूल किया गया। कुछ ट्रेनें कैंसिल करनी पड़ी है, ताकि मेला से जुड़ी ट्रेन लेट न हो।