यूपी पुलिस भर्ती पहली बार छूटे अभ्यर्थियों को दोबारा मौका, परीक्षा में गड़बड़ी के गुनाहगार निशाने पर
ग़ाज़ीपुर न्यूज़ टीम, लखनऊ. उत्तर प्रदेश में होने वाली पुलिस कॉन्स्टेबल भर्ती परीक्षा को लेकर बड़ा फैसला लिया गया है। इससे सिपाही भर्ती परीक्षा के अभ्यर्थियों को लाभ मिलेगा। सिपाही के 60,244 पदों पर भर्तियों के लिए 17 और 18 फरवरी को हुई परीक्षा में जो अभ्यर्थी शामिल नहीं हो पाए थे, उन्हें 23 से 31 अगस्त के बीच होने वाली परीक्षा में दोबारा मौका मिलेगा।
इन सभी को दोबारा रोल नंबर, प्रवेश पत्र और परीक्षा केंद्र की जानकारी भेजी जाएगी। ऐसे अभ्यर्थियों की संख्या करीब छह लाख है। यूपी पुलिस भर्ती एवं प्रोन्नति बोर्ड के अध्यक्ष डीजी राजीव कृष्णा ने इसकी पुष्टि की है। 17 और 18 फरवरी को हुई सिपाही भर्ती परीक्षा पेपर लीक के कारण रद्द होने के बाद अब फिर से 23, 24, 25, 30 और 31 अगस्त को आयोजित की जा रही है।
यूपी में पिछले 15 वर्षों में भर्ती परीक्षाओं और अन्य परीक्षाओं में किसी भी तरह की गड़बड़ी करने के 1451 आरोपितों को पूरे प्रदेश की पुलिस, एसटीएफ और दूसरी एजेंसियां तलाश रही हैं। भर्ती परीक्षाओं के इन 1451 दुश्मनों की सूची उत्तर प्रदेश पुलिस भर्ती एवं प्रोन्नति बोर्ड ने तैयार की है। बोर्ड ने ये सूची एसटीएफ व सभी जिलों के पुलिस प्रमुखों को भेजी है। सूची के आधार पर पुलिस टीमों व एसटीएफ ने इन 1451 आरोपितों की कुंडली खंगालना शुरू कर दिया है। पता लगाया जा रहा है कि ये अभी परीक्षाओं में गड़बड़ी या पेपर लीक गिरोहों के संपर्क में हैं या नहीं।
जानकारी के मुताबिक भर्ती परीक्षाओं में अलग-अलग केंद्रों में सॉल्वर, पेपर लीक गैंग के सदस्य व नकल कराने वाले आरोपित पकड़े जाते हैं जो दूसरे जिलों से आते हैं। जहां से इनकी गिरफ्तारी होती है, उस जिले में तो इनका ब्यौरा होता है। लेकिन, जहां के ये रहने वाले होते हैं, वहां इनकी जानकारी पुलिस को नहीं होती है। इसलिए, इस बार बोर्ड ने परीक्षा के ऐसे 1451 दागियों की सूची उन जिलों को भेजी है जहां के ये रहने वाले हैं। इन सभी की धरपकड़ शुरू हो गई है। जिलों के पुलिस कप्तानों से इन सभी को सत्यापित कर रिपोर्ट मांगी गई है।
उत्तर प्रदेश पुलिस भर्ती एवं प्रोन्नति बोर्ड इस बार परीक्षा में कोई चूक नहीं होने देना चाहती है। सोशल मीडिया की निगरानी के लिए एक विशेष सोशल मीडिया एनालिसिस एजेंसी को हायर किया गया है। यह एजेंसी सोशल मीडिया से जुड़े हर प्लेटफार्म पर परीक्षाओं से जुड़े मसलों को लेकर विश्लेषण कर रही है। जिस सोशल मीडिया पर पेपर लीक, परीक्षा से जुड़ी गड़बड़ी करने वाले टेलीग्राम व वॉट्सऐप ग्रुप सक्रिय हैं उनका ब्यौरा जुटाया जा रहा है। बोर्ड ने जो हेल्पलाइन वॉट्सऐप नंबर और ई-मेल पर आ रही सोशल मीडिया से जुड़ी जानकारियों का भी यह एजेंसी विश्लेषण कर रही है।