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गाजीपुर में गंगा में डूबकर 2 युवकों की मौत, एक को बचाने में हुआ हादसा

ग़ाज़ीपुर न्यूज़ टीम, गाजीपुर. गाजीपुर के सैदपुर क्षेत्र के औड़िहार गांव स्थित वराह रूप गंगा घाट पर डूबकर दो नवयुवकों की मौत हो गई। हादसा उस वक्त हुआ जब पांचो दोस्त नदी में एक साथ नहा रहे थे। तभी एक दोस्त का पैर फिसला और वह गहरे पानी में चला गया। जिसे बचाने में दो दोस्त नदी की गहराई में समा गए। पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमॉर्टम की तैयारी शुरू कर दी है।
बता दें कि वाराणसी के कैंट थाना क्षेत्र अंतर्गत फुलवरिया निवासी आदर्श उर्फ पिंकू (19) पुत्र वीरेंद्र राम अपने पिता की इकलौती संतान था। वह सैदपुर नगर के वार्ड संख्या 6 निवासी रिटायर्ड अमीन राजनाथ के यहां अकेले ननिहाल में आया था। गुरुवार की दोपहर को आदर्श ननिहाल में मौजूद अपने मौसी के लड़के आजमगढ़ जनपद के देवगांव थाना अंतर्गत चेवार गांव निवासी प्रिंस (18) पुत्र दिनेश राम के साथ औड़िहार गांव के वराह रूप घाट के पास स्थित पिता द्वारा खरीदी गई, जमीन पर गया था। यहां दोनों जमीन की चार दिवारी पर लगे गेट को पेट से रंग रहे थे।

तभी वहां अपनी बाइक से सैदपुर के खानपुर थाना क्षेत्र अंतर्गत घोंघवा गांव निवासी दीपक (20) पुत्र नंदलाल अपने चाचा के लड़के गोलू (19) पुत्र संतलाल और एक अन्य गांव के ही रहने वाले दोस्त सूरज (20) पुत्र झूनझून के साथ वाराह रूप घाट पर पहुंच गया। जो आदर्श के रिश्तेदार भी थे। गर्मी ज्यादा होने पर पांचो दोस्त वराह रूप घाट पर गंगा नदी में नहाने चले गए।

इस दौरान गहरे पानी में चले जाने से एक दोस्त डूबने लगा। जिसे बचाने के चक्कर में आदर्श और दीपक गहरे पानी में समा गए। इससे घबराए प्रिंस ने सैदपुर नगर के वार्ड संख्या 6 स्थित अपने ननिहाल मामा को फोन करके तत्काल इसकी सूचना दी। इतना सुनते ही आदर्श के ननिहाल से दर्जनों युवक कुछ देर में 3 किलोमीटर दूर स्थित वराह रूप घाट पहुंच गए और तुरंत नदी में डूबे आदर्श और दीपक को ढूंढने लगे। घटना के लगभग आधे घंटे बाद नदी में डूबे आदर्श और दीपक को बाहर निकाला जा सका।

यहां से दोनों को लेकर परिजन सैदपुर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पहुंचे, जहां डॉक्टर ने दोनों नवयुवकों को मृत घोषित कर दिया। यह सुनते ही आदर्श के ननिहाल में कोहराम मच गया। सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पहुंची महिलाएं चीखते हुए रोने लगी। यही हाल सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पहुंचे दीपक के परिजनों का भी रहा। जो लगातार सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में रोते बिलखते रहे। जिन्हें वहां मौजूद लोग ढांढस बंधाते रहे।

हादसे में मृतक आदर्श अपने मां-बाप की इकलौती संतान था। उसके पिता मूर्ति बनाने का काम करते हैं। घटना के बाद खबर सुनने के बाद से ही आदर्श के पिता सहित उसकी मां गीता देवी का रो-रोकर बुरा हाल है। वहीं दीपक के पिता नंदलाल मछली का व्यवसाय करते हैं। दीपक दो भाइयों और एक बहन में सबसे छोटा था। घटना के बाद से ही उसकी मां रेखा देवी सहित परिजन लगातार रो रहे हैं। उन्हें घटना पर विश्वास ही नहीं हो रहा है।
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