डीआईजी डा. ओमप्रकाश सिंह को वाराणसी रेंज की जिम्मेदारी, गाजीपुर में लंबे समय तक SP रहे ओपी सिंह
ग़ाज़ीपुर न्यूज़ टीम, वाराणसी. प्रदेश शासन ने शुक्रवार को कई IPS अधिकारियों की तैनाती में फेरबदल किया। SSP से DIG बनने वाले अधिकारियों को भी नई तैनाती दी गई। डॉ. ओम प्रकाश सिंह को वाराणसी परिक्षेत्र का उप महानिरीक्षक बनाया गया। ओपी सिंह इससे पहले बदायूं में बतौर एसएसपी तैनात थे। गाजीपुर में भी लंबे समय तक एसपी रहे और कोरोना के दौरान अस्पताल में गाना गाकर सोशल मीडिया खूब सुर्खियां बटोरीं। उधर, शासन ने वाराणसी से DIG अखिलेश कुमार चौरसिया को भ्रष्टाचार निवारण संगठन में तैनाती दी है। पिछले कुछ दिनों से उनके हटने के कयास लगाए जा रहे थे। IPS देवरंजन वर्मा को एसपी बलिया के पद पर भेजा गया है।
आपको वाराणसी रेंज के नए डीआईजी ओपी सिंह के बारे में बताते हैं...
सिविल सर्विसेज की तैयारी के बीच 1990 बैच के पीपीएस अफसर डा. ओमप्रकाश सिंह मूलत: बहराइच के निवासी हैं। इलाहाबाद विवि से दर्शनशास्त्र में स्नातक व पीएचडी से अलंकृत डॉ. ओपी सिंह 2018 के आईपीएस अधिकारी हैं। ओपी सिंह को 2017 में प्रधानमंत्री अवार्ड, 2019 में डीजी डिस्क सिल्वर मेडल, 2021 में डीजी डिस्क गोल्ड मेडल मिला है।
आईपीएस प्रोन्नति के बाद झांसी जीआरपी अनुभाग के पुलिस अधीक्षक रेलवे से एसपी ललितपुर बनाए गए। ललितपुर में एसपी के पद से पदोन्नति होकर 0 नवंबर 2018 को झांसी के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक पद का कार्यभार दिया गया। इसके बाद गाजीपुर में बतौर एसपी तैनात रहे जहां से बदायूं तबादला 2021 में हुआ था।
डा. ओपी सिंह अब तक बहराइच, इलाहाबाद, कानपुर नगर, बरेली, मेरठ, हापुड़, गौतमबुद नगर, सीतापुर, फिरोजाबाद, फैजाबाद, बाराबंकी, नोयडा, गाजियाबाद आदि जिलों में अपनी सेवाएं दे चुके हैं।
वाराणसी परिक्षेत्र में तीन जिलों की जिम्मेदारी
बदायूं में SSP से प्रोन्नत होकर DIG बने डा. ओमप्रकाश सिंह को वाराणसी परिक्षेत्र का डीआईजी बनाया गया है। इसमें गाजीपुर, चंदौली, जौनपुर जिले शामिल हैं, जिसमें तमाम चुनौतियां नए डीआईजी का इंतजार कर रही हैं।
गाजीपुर-चंदौली में माफिया मुख्तार अंसारी के खिलाफ कार्रवाई और उसके मुकदमों में सशक्त पैरवी, गवाहों की पेशी, गवाहों को सुरक्षा देना सबसे अहम टास्क होगा। उसके मुकदमों में विवेचना को पूरा कराना और चार्जशीट कोर्ट में पेश कराना भी चुनौती होगी।
मुख्तार गैंग से जुड़े पूर्वांचल के नेटवर्क को खंगालने और गैंग के सदस्यों को सलाखों के पीछे भेजने का जिम्मा नवागत डीआईजी ओमप्रकाश सिंह के जिम्मे होगा। इसके अलावा जौनपुर में रंजिशन होने वाली हत्याएं और राजनीति विद्वेष की वारदातों पर भी अंकुश लगाना होगा। चंदौली के नक्सल प्रभावित इलाके में नक्सली गतिविधियों को पनपने नहीं देना भी चुनौतीपूर्ण होगा। वहीं सीमा पार बिहार में शराब और पशुओं की तस्करी रोकने के लिए प्रभावी कदम उठाने होंगे।