गाजीपुर डीएम के निर्देश के बावजूद नहीं हो सकी मरम्मत, ग्रामीणों ने दी राजमार्ग जाम की चेतावनी
गाजीपुर न्यूज़ टीम, गाजीपुर. गाजीपुर जिले के जमानियां क्षेत्र अन्तर्गत गाजीपुर जमानियां राष्ट्रीय से होकर चकियां व अन्य गावों को जाने प्रमुख मार्ग पिछले छह साल से जलजमाव व कीचड युक्त मार्ग के मरम्मत के लिए डीएम के द्वारा दिए गए आदेश के बावजूद स्थिति यथावत बनी हुई है। ग्रामीणों ने बताया कि कीचड व जलजमाव के बीच उनकी जिन्दगी पूरी तरह से नारकीय हो चुकी है।
इसकी मरम्मत न होने व जलनिकासी की व्यवस्था न किए जाने से क्षेत्रीय ग्रामीणों ,वाहन चालकों,छात्र छात्राओं आदि को मजबूरी में पांच किमी दूर मिर्जापुर ,सुहवल होते हुए मार्गों से होकर बना जाना पड़ता है। लोगों ने बताया कि बरसात के मौसम में तो यह मार्ग पूरी तरह से बंद हो जाता है। वैसे कभी कभार जरूरत पडने पर इस मार्ग से ग्रामीण पैदल, दो पहिया,साइकिल आदि से आते जाते हैं।
दस साल पहले कराया गया निर्माण
लोगों ने बताया कि करीब दो किमी लंम्बे इस मार्ग का निर्माण विगत दस साल पहले तीस लाख की लागत से कराया गया। मगर मरम्मत के नाम पर आज तक किसी ने सूध नहीं ली। मगर बदहाल मार्ग में वाहनों के अनियंत्रित होकर पलटने से लोग घायल हो जाते हैं। लोगों ने बताया कि इसको जनप्रतिनिधि से लगायत सम्बन्धित अधिकारी लापरवाह बने हुए है।
आधा दर्जन गांवों के लोग परेशान
बताया कि मार्ग पर जल जमाव व कीचड़ होने से घरों से निकलना तक दुश्वार हो चुका है। उनके चौखटों के सामने तक पानी व कीचड़ जमा होने व उससे उठने वाले दुर्गंध के कारण अब संक्रामक रोग के भी फैलने का डर सता रहा है। ग्रामीणों ने बताया कि यह मार्ग करीब आधा दर्जन गांवों डुहियां, चकियां, मिर्जापुर, सुहवल, सोनवल, रमवल, सरैयां, कासिमपुर आदि से जुडा है, जिससे प्रतिदिन सैकडों लोगों सहित छोटे बडे वाहनों का आवागमन का प्रमुख मार्ग है।
ग्रामीणों ने धरना प्रदर्शन की चेतावनी
लोगों ने चेताया कि अगर एक हफ्ते के अंदर मार्ग की मरम्मत व जलनिकासी की व्यवस्था नहीं हुई तो ग्रामीण गाजीपुर जमानियां राष्ट्रीय राजमार्ग को जाम कर धरना प्रदर्शन को विवश होगें,जिसकी जिम्मेदारी प्रशासन व अन्य की होगी। इस संम्बध में लोनिवि खंड प्रथम के एक्सीयन पतांजली श्रीवास्तव ने बताया कि मार्ग को जल्द ही दुरुस्त करा दिया जाएगा।
छह साल से जलजमाव व कीचड युक्त मार्ग के मरम्मत के लिए डीएम के द्वारा दिए गए आदेश के बावजूद स्थिति यथावत बनी हुई है। ग्रामीणों ने बताया कि कीचड व जलजमाव के बीच उनकी जिन्दगी पूरी तरह से नारकीय हो चुकी है।