Parivar Card Yojana: योगी सरकार का बड़ा उपहार, हर परिवार के एक व्यक्ति को नौकरी और स्वरोजगार
गाजीपुर न्यूज़ टीम, लखनऊ. उत्तर प्रदेश के विधानसभा चुनाव 2022 के दौरान भाजपा के जारी लोक कल्याण संकल्प पत्र में घोषणा की गई थी कि दोबारा सरकार बनने पर हर परिवार को रोजगार या स्वरोजगार दिया जाएगा। इस बड़े संकल्प पर सरकार अब अमल करने जा रही है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि जल्द ही परिवार कार्ड योजना (Parivar Card Yojana) लागू कर हर परिवार को रोजगार या स्वरोजगार दिया जाएगा।
उत्तर प्रदेश के सीएम योगी आदित्यनाथ ने सरकार के सौ दिन पूरे होने पर परिवार कार्ड (Parivar Card Yojana) जारी करने का ऐलान किया है। मुख्यमंत्री ने गुरुवार को लोकभवन में आयोजित ऋण मेला में कहा कि राज्य सरकार परिवार कार्ड जारी करने जा रही है। इसके तहत जल्द ही ऐसे परिवारों की मैपिंग कराने जा रहे हैं, जिनके किसी सदस्य ने कभी सरकारी नौकरी नहीं प्राप्त की। प्रदेश सरकार का प्रयास होगा कि ऐसे परिवारों के एक सदस्य को नौकरी या स्वरोजगार से जोड़ा जाए।
सीएम योगी आदित्यनाथ ने कहा कि इसमें बैंकर्स की बड़ी भूमिका है। बैंक प्रतिनिधियों से ऋण-जमा अनुपात बढ़ाकर इस वर्ष 55 प्रतिशत करने का आग्रह करते हुए कहा कि अगले पांच वर्षाें में इसे बढ़ाकर 60 प्रतिशत तक ले जाना चाहिए। इससे बैंकों और वित्तीय संस्थाओं के प्रति जनविश्वास बढ़ेगा।
प्रदेश के युवा शासन की योजनाओं से अच्छी तरह से परिचित हों, इसके लिए शिक्षण संस्थाओं को लोक कल्याण और स्वावलंबन की योजनाओं से जुडऩा चाहिए। बैंक भी अपने नोडल अधिकारियों के माध्यम से शासन की योजनाओं को आगे बढ़ाएंगे तो बैंकों का व्यवसाय बढ़ेगा। साथ ही अर्थव्यवस्था भी मजबूत होगी। बाजार में पैसा जितना तेजी से घूमेगा, उतनी ही तेजी से समृद्धि भी आएगी।
इसके बाद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने इस संकल्प को लेकर ट्वीट भी किया। उन्होंने दोहराया- 'हम लोग परिवार कार्ड जारी करने जा रहे हैं। इसके तहत सरकारी नौकरी, रोजगार या स्वरोजगार से वंचित परिवारों को चिन्हित किया जाएगा। राज्य सरकार का प्रयास होगा कि हर परिवार के कम से कम एक सदस्य को नौकरी, रोजगार या स्वरोजगार मिल सके।'
हम लोग 'परिवार कार्ड' जारी करने जा रहे हैं। इसके अंतर्गत सरकारी नौकरी, रोजगार या स्वरोजगार से वंचित परिवारों को चिह्नित किया जाएगा।
— Yogi Adityanath (@myogiadityanath) June 30, 2022
राज्य सरकार का प्रयास होगा कि हर परिवार के कम से कम एक सदस्य को नौकरी, रोजगार अथवा स्वरोजगार के साथ जोड़ा जाए।