मुख्तार अंसारी की जमानत अर्जी फिर खारिज, जानें क्यों
गाजीपुर न्यूज़ टीम, आजमगढ़. अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश/एमपी-एमएलए कोर्ट नंबर तीन ओम प्रकाश वर्मा की अदालत में माफिया मुख्तार अंसारी की शुक्रवार को वर्चुअल पेशी हुई। बांदा जेल से वीडियो कांफ्रेंग के जरिए माफिया ने एक मिनट की हाजिरी लगाई। अदालत ने चार्ज पर पुनः सुनवाई के लिए 13 जून की तारीख मुकर्रर की है।
ऐरा कला गांव में छह फरवरी 2014 की रात सड़क निर्माण में लगे मजदूरों पर बदमाशों ने अंधाधुंध गोलियां चलाईं थीं। इसमें एक मजदूर रामइकबाल की मौत हो गई थी, जबकि पांचू राम घायल हो गया था। घटना के संबंध में मऊ जिले के सरायलखंसी थाने के अहिलाद गांव निवासी राजेश सिंह ने तहरीर देकर तरवां थाने में केस दर्ज कराई। जांच के बाद पुलिस ने घटना के लिए पूर्व विधायक मुख्तार अंसारी को साजिश रचने का मुख्य आरोपी बनाया। बताया गया कि घटना को उसके शूटरों ने अंजाम दिया था।
मऊ के मुख्तार अंसारी की गैंगस्टर मामले मे जमानत अर्जी खारिज
मऊ के पूर्व विधायक मुख्तार अंसारी की सरायलखंसी थाने के विधायक निधि के गलत इस्तेमाल के मामले को लेकर गैंगस्टर के अपराध में जमानत अर्जी प्रभारी गैंगस्टर की विशेष अदालत एडीजे दिनेश कुमार चौरसिया ने सुनवाई के बाद खारिज कर दिया। प्रभारी गैंगस्टर की विशेष अदालत ने यह आदेश मुख्तार अंसारी के अधिवक्ता दारोगा सिंह तथा राज्य की ओर गैंगस्टर मामलों के विशेष अधिवक्ता कृष्ण शरण सिंह को सुनने के बाद पारित किया।
मुख्तार अंसारी सदर विधायक रहते हुए विधायक निधि से लाखों रुपये सरवां स्थित बैजनाथ महाविद्यालय को दिया गया था जिसके लिए राजस्व अभिलेखों में हेराफेरी की गयी थी। इस मामले को लेकर विधायक सहित सभी आरोपितों के विरूद्ध गैंगस्टर का भी मामला दर्ज किया गया था। विधायक निधि दुर्पयोग मामले मे उनकी जमानत स्वीकृत हो चुकी है। इसी मामले को लेकर गैंगस्टर एक्ट के तहत 5 जनवरी 2022 को 11 लोग प्रबंधक व मुख्तार अंसारी सहित आरोपी है मामले में एसएचओ सरायलखंसी कृष्ण कुमार गुप्ता ने प्राथमिकी दर्ज कराई थी। मामले में आरोपी विक्रमा यादव की मृत्यु हो चुकी है।