खाद्यान घोटाले में कोटेदार और सचिव सहित तीन गिरफ्तार
गाजीपुर न्यूज़ टीम, बलिया. चर्चित बलिया खाद्यान घोटाले में आरोपी कोटेदार, सचिव समेत तीन आरोपियों को ईओडब्लू (आर्थिक अपराध अनुसंधान संगठन) ने शुक्रवार दोपहर वाराणसी के नदेसर से गिरफ्तार किया। संपूर्ण ग्रामीण रोजगार योजना के तहत हुए करोड़ों के गबन में साल 2006 से आरोपियों की तलाश थी। आरोपियों को भ्रष्टाचार निवारण की अदालत में पेश किया जाएगा।
ईओडब्लू एसपी डी. प्रदीप कुमार के अनुसार गबन मामले में आरोपियों की तलाश में टीम दबिश दे रही थी। इस बीच इंस्पेक्टर कृष्ण मुरारी मिश्र की टीम को सूचना मिली कि गबन के आरोपी नदेसर तिराहे से वरुणा पुल की ओर जाने वाले हैं। इस आधार पर टीम ने घेराबंदी करते हुए गबन में संलिप्त तत्कालीन ग्राम पंचायत विकास अधिकारी विनोद कुमार तिवारी निवासी बस्तौरा, कोटवारी थाना रसडा बलिया और कोटवारी के ही रहने वाले जयनारायण गुप्ता और तत्कालीन कोटेदार रसड़ा थाना अंतर्गत अमरहपट्टी निवासी रामायण यादव को गिरफ्तार किया गया।
ईओडब्लू के पीआरओ सुनील कुमार वर्मा ने बताया कि केंद्र और राज्य सरकार की ओर से साल 2002 से 2005 के बीच में संपूर्ण ग्रामीण रोजगार योजना का क्रियान्वयन बलिया में किया गया था। इस योजना के तहत जनपद के विभिन्न गावों में मिट्टी, नाली निर्माण, खंड़जा निर्माण, पटरी नरम्मत कार्य संपर्क मार्ग निर्माण, पुलिया निर्माण कार्य आदि श्रमिकों का चयन होना था और श्रमिकों को श्रम के बदले खाद्यान्न और नकद पैसे दिए जाने का निर्देश था। इसमें ब्लॉक प्रमुख, कोटेदार, ग्राम प्रधान और सचिव ने मिलकर गबन किया।
38 लाख से अधिक का खाद्यान डकार गए
ईओडब्लू के पीआरओ के अनुसार विवेचना में पाया गया कि जिम्मेदार अधिकारियों और कर्मचारियों ने कोटेदारों और सचिव की मिलीभगत से पत्रावलियों पर भुगतान आर्डर, मास्टर रोल व खाद्यान्न वितरण रजिस्टर में कूटरचना कर केन्द्र सरकार के निर्देशों को गंभीरता से नहीं लेते हुए इस योजना को जबरदस्त चूना लगाया।
श्रमिकों का चयन भी मनमानी तरीके से किया गया और मास्टर रोल में दर्शाये गये श्रमिकों का नाम, पता भी विवेचना में फर्जी पाया गया। इस प्रकरण में मानक के अनुरूप कार्य न कराकर जनपद के जिम्मेदार अधिकारियों द्वारा ग्राम पंचायत विकास अधिकारी, ब्लाक प्रमुख एवं कोटेदारों से मिलीभगत करते हुए सरकारी घन का खाद्यान्न 38,73,940 रुपये का गबन किया था।