सोनौली फोरलेन का टेंडर फाइनल, 1458 करोड़ रुपये की लागत से होगा निर्माण
गाजीपुर न्यूज़ टीम, गाजीपुर. जंगल कौड़िया से लेकर सोनौली बाईपास तक फोरलेन सड़क का टेंडर एनएचएआई ने फाइनल कर दिया है। 1458 करोड़ रुपये की लागत से प्रस्तावित फोरलेन निर्माण का काम आगरा की एक फर्म को मिला है। फर्म द्वारा आने वाले अक्तूबर महीने में काम शुरू किया जाएगा। अक्तूबर 2024 तक फोरलेन का निर्माण पूरा हो जाएगा। फोरलेन निर्माण से गोरखपुर से नेपाल सीमा के सोनौली बॉर्डर तक सफर सुगम हो जाएगा।
गोरखपुर से नेपाल बॉर्डर के सोनौली बाईपास (एनएच-29ई) तक 79.54 किलोमीटर लंबाई का फोरलेन का निर्माण प्रस्तावित है। फोरलेन निर्माण और जमीन अधिग्रहण के लिए केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने विधानसभा चुनाव के पहले ही 2555.50 करोड़ का बजट मंजूर कर दिया था। अब एनएचएआई ने आगरा की फर्म को फोरलेन निर्माण के लिए वर्क ऑर्डर भी जारी कर दिया है। फर्म को अक्तूबर महीने से फोरलेन निर्माण शुरू करने का आदेश हुआ है। इस दौरान जमीन अधिग्रहण और एनएचएआई के पक्ष में रजिस्ट्री की प्रक्रिया पूरी कर ली जाएगी। विभाग का मानना है कि 90 फीसदी जमीन रजिस्ट्री होने के बाद ही फर्म फोरलेन का निर्माण शुरू करेगी। बता दें कि फोरलेन निर्माण के लिए गोरखपुर के सदर और कैम्पियरगंज में 150 हेक्टेयर भूमि का अधिग्रहण किया जा रहा है। दूसरी ओर महराजगंज जिले के फरेंदा और नौतनवा तहसील में जमीन अधिग्रहण की प्रक्रिया अंतिम चरण में है।
पीपीगंज और कोल्हुई में बनेगा बाईपास
गोरखपुर-सोनौली फोरलेन पर गाड़ियों का परिवहन प्रभावित न हो, इसलिए पीपीगंज और कोल्हुई में बाईपास बनाया जा रहा जिसके लिए जमीन का अधिग्रहण किया जा रहा है। फोरलेन पर 19 स्थानों पर अंडरपास, कैम्पियरगंज में एक अतिरिक्त फ्लाईओवर और महराजगंज के मोहनापुर ढाला के पास रेलवे क्रासिंग पर ओवरब्रिज का निर्माण होगा। इसके अतिरिक्त पहले से मौजूद ओवरब्रिज को चौड़ा किया जाएगा। वहीं नयनसर के टोल प्लाजा को भी शिफ्ट कर पीपीगंज टाउन एरिया के बाहर किया जा सकता है।
बोले परियोजना निदेशक
पुरानी सड़क को बिना तोड़े दोनों तरफ से सड़क को चौड़ा किया जा रहा है। आगरा की फर्म को अक्तूबर महीने में काम शुरू करना है। कार्य शुरू होने के दो साल के भीतर फोरलेन का निर्माण पूरा हो जाएगा। फोरलेन निर्माण से न सिर्फ निर्यात में बढ़ोतरी होगी बल्कि पर्यटन उद्योग को भी बढ़ावा मिलेगा।- सीएम द्विवेदी, परियोजना निदेशक, एनएचएआई