बलिया में यूपी बोर्ड पेपर लीक मामले का मास्टरमांइड व महाराजी देवी स्मारक इंटर कालेज का प्रबंधक गिरफ्तार
गाजीपुर न्यूज़ टीम, बलिया. बलिया में यूपी बोर्ड परीक्षा से संबंधित पेपर लीक प्रकरण में पुलिस ने मास्टरमाइंड को गिरफ्तार कर लिया है। मास्टरमांइड निर्भय नरायन सिंह महाराजी देवी स्मारक इंटर कालेज का प्रबंधक है। उसके साथ साल्वर राजीव प्रजापति भी मुख्य आरोपित है। इसकी कंप्यूटर की दुकान है। इस मामले में डीआईओएस सहित अब तक 46 लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है।
पेपर के सभी लिफाफे सही तो फिर कहां से लीक हुआ पर्चा
यूपी बोर्ड परीक्षा में 12वीं के अंग्रेजी विषय का पर्चा लीक होने का मामला तूल पकड़ता जा रहा है। परीक्षा शुरू होने के बाद मामला प्रकाश में आने पर 24 जिलों में परीक्षा निरस्त कर दी गई थी। जिले के 211 परीक्षा केंद्रों से पेपर के लिफाफे जिला प्रशासन के द्वारा तत्काल जमा कराए गए थे। जांच में सभी परीक्षा केंद्रों के लिफाफे सही मिलने की बात कही जा रही है। ऐसे में अब सवाल यह उठने लगा है कि पर्चा लीक कहां से हुआ। इस प्रकरण में जिला प्रशासन के अलावा एसटीफ की टीम भी असल मास्टरमाइंड तक पहुंचने में लगी है, लेकिन वह अभी भी पकड़ से बाहर ही दिख रहा है।
चार दिन बीत जाने के बाद भी इस प्रकरण का राजफाश नहीं किया जा सका। आगे की परीक्षा के लिए व्यवस्था में बदलाव किया गया है। 24 घंटे परीक्षा केंद्रों की निगरानी के लिए बेसिक शिक्षा विभाग के शिक्षकों की डयूटी लगाई गई है। परीक्षा का पेपर भेजवाने में भी काफी सतर्कता बरती जा रही है, लेकिन पर्चा किसने लीक किया, यह सवाल अभी भी प्रशासन कर पीछा नहीं छोड़ रहा है। प्रशासन की यह सतर्कता देख सभी लोग यही बात बोल रहे हैं कि यदि पहले से ही इतना सतर्क प्रशासन होता तो पर्चा लीक होने के मामले में जिला भी कलंकित नहीं होता। पर्चा लीक होने के मामले आगे चाहे जो तथ्य सामने आए, लेकिन परीक्षा का यह स्वरूप देख जिले में पूरे सिस्टम के बारे में तरह-तरह की चर्चा हो रही है।
आज से मुख्य विषयों की परीक्षा, रहेगी चुनौती
सभी परीक्षा केंद्रों पर मुख्य विषयों की परीक्षा में कक्ष के अंदर कक्ष निरीक्षक तो बाहर में प्रशासन को ज्यादा परेशान होना पड़ता है। सोमवार को यानि आज प्रथम पाली में 10वीं के विज्ञान और द्वितीय पाली में 12वीं के जीवविज्ञान व गणित की परीक्षा है। जिला प्रशासन की ओर सख्ती बढ़ाई गई है, फिर भी चुनौती कम नहीं है। अब तक की परीक्षा में खेजुरी के विद्यालय में पहले ही दिन सामूहिक नकल का मामला प्रकाश में आया था। कुछ जगहों पर दूसरे के स्थान पर परीक्षा देने वाले छात्र भी पकड़े गए थे। अधिकांश विद्यालयों के सीसीटीवी कैमरा बिजली से ही संचालित हैं। खुद के जरनेटर की व्यवस्था नहीं है। लाइन कटने के बाद सीसीटीवी कैमरे बंद हो जाते हैं। ऐसे में कक्ष के अंदर की गतिविधियां क्या होंगी, सहज अनुमान लगाया जा सकता है।