पूर्वांचल में बिगड़ा मौसम, तेज गरज-चमक के साथ बारिश, कई जगह पड़े ओले
गाजीपुर न्यूज़ टीम, वाराणसी. पश्चिमोत्तर से चला अति सक्रिय पश्चिमी विक्षोभ 24 घंटे में ही पूर्वांचल आ पहुंचा। इसके यहां पहुंचते ही तेज गरज-चमक के साथ बारिश के छींटे पड़े और कई क्षेत्रों में ओलावृष्टि भी हुई। गुरुवार की शाम से बूंदाबांदी के साथ शुरू बारिश पूरी रात रुक-रुक कर होती रही। इसी तरह का मौसम शुक्रवार को भी बने रहने की संभावना है।
बुधवार को ही जम्मू-कश्मीर पहुंचा इसअति सक्रिय पश्चिमी विक्षोभ की गति इतनी तेज थी कि गुरुवार की सुबह से ही इसका प्रभाव दिखने लगा था। मौसम ने कई तरह के रंग दिखाए। सुबह से ही घने कोहरे के साथ लगभग 26 किमी प्रति घंटा के वेग से चलती हवा ने दोपहर तक जनमानस का हाड़ कंपकंपा कर रख दिया तो थोड़ी देर के लिए निकली धूप ने भी अपनी तीक्ष्णता का अनुभव कराया। फिर दोपहर बाद घिरे बादलों ने मौसम में उमस पैदा कर लोगों के शरीर से कपड़ों का लबादा कम करवा दिया। शाम होते ही तेज गरज और चमक के साथ छींटों की बौछार शुरू हुई तो कहीं-कहीं तेज बारिश भी हु़ई। जनपद के अनेक क्षेत्रों में ओले भी पड़े। माैसम का यह रूप देखकर फसलों की चिंता में किसानों का हृदय कांप उठा।
आज भी बना रहेगा बारिश और ओले का मौसम
वरिष्ठ मौसम विज्ञानी प्रो. एसएन पांडेय बताते हैं कि यह पश्चिमी विक्षोभ काफी सक्रिय है। इधर एक नई स्थिति बन गई है, बंगाल की खाड़ी की ओर से धरातल से एक किमी तक पुरुवा हवाएं चल रही हैं, जो सूखी और ठंडी हैं। वहीं पश्चिमोत्तर की ओर से आया यह विक्षोभ उसके ऊपर लगभग 10-12 किमी की ऊंचाई तक सघन रूप से बना हुआ है जो काफी तेज है और हवाएं बर्फ के क्रिस्टल के रूप में हैं। इसके प्रभाव से अभी बंगाल की खाड़ी की ओर आई सूखी और ठंडी हवाएं वाष्पित होकर बरस रही हैं।
इनके हटते ही ऊपर जमा विक्षोभ की बर्फीली क्रिस्टल युक्त हवा नीचे आई तो बर्फ के टुकड़े ओले के रूप में छोटे-छोटे होकर बरस सकते हैं। इसके चलते शुक्रवार को भी मौसम बारिश और ओले का बना रहेगा। यह भी हो सकता है दोपहर में थोड़ी देर 25-30 मिनट के लिए धूप भी हो, लेकिन उसके बाद फिर गरज-चमक के साथ छींटे पड़ेंगे। शनिवार से यह आगे बढ़ेगा और बारिश थमने के आसार हैं। इसके बाद ठंड और प्रचंड हो जाएगी। इस विक्षोभ ने वसंत के आगमन की राह रोक दी है।