अलग हुए समर-नंदिनी, अनुपमा ने लगाई वनराज की क्लास!
गाजीपुर न्यूज़ टीम, नई दिल्ली. ‘अनुपमा’ में 15 जनवरी, शनिवार को दिखाया गया कि अनुपमा अनुज से कहती है कि वो अब अपने घर जा रही है. अनुपमा कहती है कि वो यहां इसलिए आई थी क्योंकि अनुज की तबियत ठीक नहीं थी लेकिन अब वो ठीक हो गया है इसलिए उसका रुकना ठीक नहीं होगा. अनुपमा कहती है कि वो हमेशा घर आते-जाते रहेगी और ऑफिस में भी उनकी मुलाकात होती रहेगी. अनुज अनुपमा से रुकने के लिए कहता है.
अनुज कहता है कि अभी नए साल की शुरुआत हुई है और उसे नहीं जाना चाहिए. अनुपमा कहती है कि एक दिन उसे अनुज के घर से जाना ही होगा इसलिए बेहतर होगा कि वो अभी चली जाए. इधर, समर नंदिनी से कहता है कि काव्या कभी अपनी गलती का पछतावा नहीं होता और उसे अनुपमा को इतने सालों तक चोट पहुंचाने के लिए माफी मांगनी चाहिए. नंदिनी कहती है कि वनराज भी उतना ही दोषी है. समर कहता है कि इसलिए अपने पिता को ‘डैड’ नहीं कहता है.
नंदिनी-काव्या में हुआ झगड़ा
नंदिनी कहती है कि उन्हें काव्या को भी समझना चाहिए. समर कहता है कि उन्हें शादी के बारे में एक बार और सोचना चाहिए. नंदिनी भी इस बात पर अपनी हामी भरती है और वहां से दोनों चली जाती है. बा को दोनों के झगड़े को लेकर चिंता होती है. पाखी सोचती है कि वनराज को अनुपमा ने अब तक कुछ नहीं बताया है. तोषू पाखी से पूरी बात पूछता है और कहती है कि वो पढ़ने के लिए यूएस जाना चाहती है. तोषू उसे कहता है कि इसके लिए पहले उसे मेहनत करनी चाहिए.
तोषू ने दी पाखी को सलाह
तोषू पाखी से कहता है कि पहले वो कॉलेज सेलेक्ट करे, फिर कोर्स चुने और स्कॉलरशिप पाने के लिए मेहनत करे. फिर सबको उसकी मेहनत दिखेगी तो लोग तैयार होंगे. पाखी उससे पढ़ाई करने में मदद मांगती है. तोषू इसके लिए तैयार हो जाता है. अनुज अनुपमा से कहता है कि उसे जीके और मालविका के लिए रुक जाना चाहिए. अनुपमा मान जाती है और मालविका उसके लिए चाय बनाने जाती है. अनुज उसका पल्लू पकड़ता है और कहता है कि कभी उसे जाने नहीं देगा.
बाद में अनुज अनुपमा से उसके साथ हुए मानसिक प्रताड़ना की बात करता है. अनुपमा उसे बताती है कि कैसे मालविका की तबियत खराब होने पर वनराज घर आया था उसे अनुपमा ने एहसास दिलाया था कि उसने 25 सालों तक अनुपमा के आत्मविश्वास, स्वाभिमान को चोट पहुंचाई तो किसी मानसिक प्रताड़ना से कम नहीं था.