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माध्यमिक विद्यालयों के शिक्षकों के नई पेंशन योजना खाते में घालमेल की जांच शुरू

गाजीपुर न्यूज़ टीम, वाराणसी. नई पेंशन योजना (एनपीएस) से आच्छादित माध्यमिक विद्यालयों के शिक्षकों के सरकारी अंशदान के नाम पर घालमेल का प्रकरण सामने आया है। आरोप है कि जनपद के कई विद्यालयों के शिक्षकों के खाते में दिसंबर वर्ष 2020 माह का अंशदान कम तो किसी का अधिक अंशदान जमा कर दिया गया है। जिला विद्यालय निरीक्षक डा. विनोद कुमार राय ने इसे लिपकीय त्रुटि बताई है। उन्होंने बताया कि इस संबंध में संबंधित पटल सहायक को दीपावली से पहले सभी शिक्षकों के एनपीएस खाते की जांच कर नियमानुसार सरकारी अंशदान स्थानांतरित कराने का निर्देश दिया है। फिलहाल सरकारी अंशदान के स्थानांतरण का कार्य रोक दिया गया है और इसकी जांच-पड़ताल शुरु कर दी गई है कि इस तरह की गड़बड़ी कैसे और किसके स्तर पर हुई है।

शिक्षक नेता सुधांशु शेखर त्रिपाठी के जिला विद्यालय निरीक्षक से मिलकर शिक्षकों के एनपीएस खाते में कार्यालय स्तर पर जानबूझ कर घालमेल करने की संभावना जताई है ताकि शिक्षकों से वसूली की जा सके। कहा है कि डीआइओएस कार्यालय स्तर पर हाल में ही 14 अक्टूबर को दिसंबर 20 एवं जनवरी, फरवरी 21 का सरकारी अंशदान शिक्षकों के खाते में जमा कराया गया है। वहीं खुद के एनपीएस खाते में दिसंबर 20 का अंशदान मात्र 6206 रुपये जमा किया गया है जबकि नवंबर 20 में एवं जनवरी 21 में रुपये 19656 प्रतिमाह जमा हुआ था। 

इसी प्रकार डीएवी इंटर कालेज के गुलाब सिंह, सर्वोदय इं कालेज (लखनसेनपुर) के आनन्द कुमार सिंह, कमलाकर चौबे आदर्श इंटर कालेज के प्रशांत कुमार तिवारी, कालिकाधाम इंटर कालेज (सेवापुरी) के अशोक कुमार कुशवाहा , सरदार पटेल इंटर कालेज( बावनबीघा) के विशेश्वर सिंह, शोभनाथ मिश्र इंटर कालेज (गोराईं) के संतोष कुमार तिवारी , सुभद्रा कुमार इंटर कालेज (बसनी) के महेंद्र यादव जैसे अनेक शिक्षकों सहित अनेक विद्यालयों के शिक्षकों के खाते में दिसंबर 20 का सरकारी अंशदान मनमाने तरीके से कम जमा किया गया है।

दूसरी तरफ कई शिक्षकों के खाते में दिसंबर 20 का सरकारी अंशदान अधिक जमा कर दिया गया है जैसे कि सरदार पटेल इं कालेज (बावनबीघा) के शिक्षक हरिशंकर सिंह यादव के खाते में दिसंबर 20 का सरकारी अंशदान 19656 रुपये जमा किया गया है जबकि नियमित रूप से 14183 रुपये जमा हो रहा था। इसी तरह उसी विद्यालय के संजय पटेल के खाते में भी अधिक सरकारी अंशदान जमा किया गया है। उन्होंने आरोप लगाया कि पटल सहायक मनमाने तरीके से शिक्षकों के एनपीसी खाते पैसा स्थानांतरित कराने का आरोप लगाया है। कहा कि इसके पीछे शिक्षकों से अवैध रूप से वसूली की संभावना है।

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