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इस प्रदेश के 14 जिलों में 10 साल पुराने डीजल और 15 साल पुराने पेट्रोल वाहन होंगे जब्त

गाजीपुर न्यूज़ टीम, नई दिल्ली. हरियाणा और राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (एनसीआर) में पड़ने राज्‍य के जिलों में पुराने वाहन रखने वालों पर गाज की तैयारी है। एनसीआर में पड़ने वाले हरियाणा के 14 जिलों में 10 साल पुराने डीजल और 15 साल पुराने पेट्रोल वाहन जब्त किए जाएंगे। इसके लिए पुलिस विशेष अभियान छेड़ेगी। सुप्रीम कोर्ट और राष्ट्रीय हरित प्राधिकरण (कबाड़) के आदेशों को सख्ती से लागू करते हुए जागरूकता अभियान भी चलाया जाएगा। इसके तहत वाहन मालिकाें को निर्धारित समय पूरा कर चुके वाहनों को स्क्रैप (कबाड़) करने के लिए प्रेरित किया जाएगा।

सुप्रीम कोर्ट के आदेश को सख्ती से लागू होंगे, पुराने वाहनों को स्क्रैप कराने को जागरूकता अभियान

प्रदेश के 14 जिले फरीदाबाद, गुरुग्राम, नूंह, रोहतक, सोनीपत, रेवाड़ी, झज्जर, पानीपत, पलवल, भिवानी, दादरी, महेंद्रगढ़, जींद और करनाल एनसीआर में आते हैं। वायु प्रदूषण को रोकने के लिए सुप्रीम कोर्ट ने 10 साल पुराने डीजल और 15 साल पुराने पेट्रोल वाहनों को चलाने पर प्रतिबंध लगाया हुआ है।

पंचकूला, यमुनानगर, कुुरुक्षेत्र, अंबाला, हिसार, सिरसा, फतेहाबाद व कैथल में ही चला सकेंगे पुराने वाहन

प्रदेश के आठ जिले पंचकूला, यमुनानगर, कुुरुक्षेत्र, अंबाला, हिसार, सिरसा, फतेहाबाद और कैथल ही ऐसे जिले हैं जहां सुप्रीम कोर्ट के आदेश लागू नहीं होते। इन जिलों में पुराने वाहनों को चलाया जा सकता है। सुप्रीम कोर्ट के आदेशों को अमलीजामा पहनाने की कड़ी में हरियाणा पुलिस के जवान वाहन चालकों और मालिकों को नए नियमों के प्रति जागरूक करेंगे। इसके साथ ही आमजन को भी पुराने वाहनों से पर्यावरण को हो रहे नुकसान के बारे में बताया जाएगा। इसके अलावा पुलिस टीमें निर्धारित समय अवधि पूरी करने वाले वाहनों के बारे में टैक्सी स्टैंड, आटो बाजार, ट्रक यूनियन, वाहन बिक्री केंद्र और अन्य सार्वजनिक स्थानों पर जाकर लोगों को इस संबंध में सूचित करेंगी।

सुप्रीम कोर्ट और एनजीटी ने करीब पांच साल पहले पुराने वाहनों पर अंकुश लगाने के निर्देश दिए थे, लेकिन अभी तक इसे सख्ती से लागू नहीं किया गया। प्रदेश में साढ़े छह लाख से अधिक वाहन ऐसे हैं जो निर्धारित समयावधि पूरी कर चुके हैं। इनमें तीन चौथाई से अधिक वाहन एनसीआर में हैं।

अब आदेशों को लागू करते हुए पहले करीब एक पखवाड़े तक पुराने वाहनों के मालिकों और चालकों को जागरूक किया जाएगा। इसके बाद नहीं मानने वाले वाहन चालकों पर शिकंजा कसते हुए वाहनों को जब्त किया जाएगा और इन्हें कंडम मानते हुए नष्ट कर दिया जाएगा।

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