उलेमाओं का फतवा : शादियों में नाच-गाना हुआ तो निकाह नहीं पढ़ाएंगे और...
गाजीपुर न्यूज़ टीम,रामपुर. शादियों में नाच-गाना या डीजे बजा तो उलेमा निकाह नहीं पढ़ाएंगे। अगर किसी ने इन नियमों का उल्लंघन किया तो समाज से उसका बहिष्कार किया जाएगा। उलेमाओं का मानना है इस दिखावे से शादियों में फिजूलखर्ची हो रही है। सबके सहयोग से ही समाज से इस बुरे रिवाज को दूर करना होगा। उलेमाओं ने बैठक के दौरान ग्रामीणों से लड़कियों को मोबाइल से दूर रखने की बात कही और शरीयत के मुताबिक जिंदगी गुजारने को कहा।
स्वार क्षेत्र के खेमपुर स्थित तंजीम रजा-ए-मोहम्मद मुस्तफा के जिम्मेदार और उलेमाओं ने शुक्रवार को इस मसले पर बैठक की। बैठक में गांव की भलाई के लिए कई प्रस्ताव पास हुए। तय हुआ कि शादियों में हो रही फिजूलखर्ची रोकने के लिए कड़े कदम उठाने की जरूरत है। उलेमाओं ने फैसला लिया अगर गांव की किसी भी शादी में बैंड-बाजा, डीजे या नाच-गाना हुआ तो उलेमा निकाह नहीं पढ़ाएंगे।
इसके अलावा इस नियम का उल्लंघन करने वाले परिवार का सामाजिक बहिष्कार किया जाएगा। उसके किसी भी कार्यक्रम में गांव का कोई भी व्यक्ति शरीक नहीं होगा। तंजीम द्वारा लिए गए फैसले पर अमल कराने के लिए गांव में एक कमेटी का भी गठन किया गया। यह कमेटी गांव में होने वाली शादी की निगरानी करेगी और अपनी रिपोर्ट उलेमाओं की कमेटी को देगी। उलेमाओं द्वारा दिए गए फैसले का ग्रामीणों ने स्वागत किया और इस पर अमल करने का भरोसा भी दिया।
बैठक में यह उलेमा रहे मौजूद
मौलाना ओवैस मिस्बाही, मौलाना जनाबे आलम, मौलाना वसीम रजा, हाफिज फुर्सत अली, हाफिज मुराद अली, कारी शमशाद हुसैन, हाफिज गुलाम रसूल, हाफिज इलियास,कारी तस्वीर रजा, अनवर अली, नियाज़ कादरीआदि मौजूद रहे।