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बलिया के रसड़ा में चंद्रशेखर विश्वविद्यालय का दूसरा कैंपस, जुड़ सकते हैं मऊ और गाजीपुर के कालेज

गाजीपुर न्यूज़ टीम, बलिया। चंद्रशेखर विश्वविद्यालय के दूसरे परिसर का निर्माण रसड़ा के कताई मिल की जमीन पर कराने की प्रक्रिया चल रही है। विश्वविद्यालय प्रशासन और आसपास के लोगों की अलग-अलग विचारधारा सामने आ रही हैं। रसड़ा में दूसरे परिसर के निर्माण को लेकर कुलपति प्रो. कल्पलता पांडेय कई बार अपनी मंशा स्पष्ट कर चुकी हैं। उनका कहना है कि विश्वविद्यालय कहीं भी स्थानांतरित नहीं हो रहा है। 

यदि रसड़ा में जमीन मिलती है तो विश्वविद्यालय के दूसरे परिसर का निर्माण होने से विश्वविद्यालय का दायरा तो बढ़ेगा ही, परिसर का उपयोग छात्राओं की शिक्षा के लिए किया जा सकेगा। आने वाले दिनों में बलिया के महाविद्यालयों के साथ मऊ और गाजीपुर के कालेज भी इसमें शामिल हो सकते हैं। उधर विश्वविद्यालय के भवन निर्माण के लिए 15 करोड़ स्वीकृत हुआ है। रजिस्ट्रार संजय कुमार ने बताया कि भवन निर्माण के लिए खाका तैयार हो रहा है। बहुत जल्द निर्माण कार्य भी शुरू होगा। 


अभी संबद्ध हैं सिर्फ बलिया के 128 कालेज

विश्वविद्यालय से अभी तक केवल बलिया के ही 128 महाविद्यालय संबद्ध हैं। जबकि अन्य विश्वविद्यालयों में दो या तीन जनपदों के महाविद्यालय शामिल हैं। रसड़ा में दूसरे परिसर का निर्माण होने से मऊ व गाजीपुर भी नजदीक हो जाएगा। विश्वविद्यालय प्रशासन रसड़ा के कताई मिल की जमीन पर दूसरे परिसर का निर्माण जरूरी मान रहा है। रसड़ा में कताई मिल की जमीन रसड़ा-मऊ मुख्य मार्ग पर स्थित है। वहां बालिकाओं को आवागमन में भी काफी सहूलियत होगी। बालिकाओं की शिक्षा को लेकर राज्यपाल आनंदीबेन पटेल भी काफी गंभीर हैं। दीक्षा समारोह के संबोधन में भी उनकी यह मंशा बार-बार उभर कर सामने आ रही थी। 


विश्वविद्यालय के दूसरे परिसर के निर्माण पर मचा शोर 

जननायक चंद्रशेखर विश्वविद्यालय के दूसरे परिसर के निर्माण को लेकर तकरार बढ़ते हुए दिख रही है। विश्वविद्यालय बसंतपुर शहीद स्मारक परिसर में स्थापित है। विश्वविद्यालय परिसर को डूब क्षेत्र कहने पर भी बसंतपुर के लोगों ने शनिवार को बैठक कर एतराज है। करोड़ों की लागत से बने भवन में 22 दिसंबर 2016 को लगभग 60 एकड़ में इस विश्वविद्यालय की स्थापना हुई थी। इस दौरान ध्रुव नारायण सिंह, डा. गजेंद्र पाल सिंह, महंथ नित्यानंद मिश्र, अंजनी सिंह, उपेंद्र सिंह, ज्ञानेंद्र प्रताप सिंह, दीपक सिंह जेपी पांडेय समेत कई लोग मौजूद रहे।


विश्वविद्यालय स्थानांतरित की हो रही साजिश : रामगोविंद चौधरी

नेता प्रतिपक्ष रामगोविंद चौधरी ने बताया कि रसड़ा में दूसरे परिसर के निर्माण के नाम पर विश्वविद्यालय को स्थानांतरित करने की साजिश रची जा रही है। पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने स्व. चंद्रशेखर के नाम पर विश्वविद्यालय की मंजूरी दी थी। बसंतपुर शहीद स्मारक पर चयन विमर्श के बाद लिया गया था।


जलजमाव की समस्या का कराएंगे निदान : नीरज शेखर

राज्य सभा सदस्य नीरज शेखर ने बताया कि पिता पूर्व प्रधानमंत्री चंद्रशेखर के नाम पर विश्वविद्यालय होना मेरा सपना था, उसे मैंने पूरा किया। परिसर में जल जमाव की समस्या का निदान कराऊंगा। सड़कें भी बेहतर होंगी। कटहल नाले की सफाई के बाद जलजमाव से मुक्ति मिल जाएगी।

 
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