मायावती के यू-टर्न के बाद भी साथ नहीं लौटा वोटर, शून्य पर सिमटी बसपा
गाजीपुर न्यूज़ टीम, लखनऊ. उत्तर प्रदेश में बहुजन समाज पार्टी की तस्वीर बदलती नहीं दिख रही है। कहने को तो उपचुनाव में बसपा के पास खोने के लिए कुछ नहीं था, लेकिन पाने की उसकी हर एक कोशिश बेकार ही होती दिखी। पार्टी के लिए यह चिंता की बात हो सकती है कि तीन वर्ष पहले विधानसभा के आम चुनाव में उसे मिले वोट भी वह ज्यादातर सीटों पर संजोकर नहीं रख सकी है। पार्टी के इस कदर खराब प्रदर्शन के पीछे खासतौर से दलित वोटों के खिसकने के साथ ही मुस्लिम मतों की भी उसके प्रति बेरुखी को ही माना जा रहा है।
दरअसल, उत्तर प्रदेश में जिन सात विधानसभा सीटों पर उपचुनाव हुए हैं, उनमें से कोई भी सीट बसपा के पास नहीं थी। उपचुनाव में भाजपा व सपा से सीट छीनने के लिए बसपा सुप्रीमो मायावती ने पार्टी संगठन के बड़े नेताओं से लेकर निचले स्तर तक के पदाधिकारियों को एक-एक सीट की जिम्मेदारी सौंपी थी, लेकिन नतीजों ने सारी उम्मीदों पर पानी फेर दिया है।
गौर करने की बात तो यह है कि पार्टी न कोई सीट निकालनें में कामयाब रही, बल्कि वह एक मात्र बुलंदशहर सीट पर ही रनरअप यानी दूसरे स्थान पर रही है। चार सीटों पर तीसरे व दो सीटों पर तो चौथे स्थान पर लुढ़क गई है। खास बात यह भी है पार्टी अपने वोट बैंक को भी बरकरार नहीं रख सकी है। विधानसभा के आम चुनाव में पार्टी की इन सात सीटों पर 23.62 फीसद वोटों की हिस्सेदारी थी। उपचुनाव में साढ़े चार फीसद से अधिक वोटों की हिस्सेदारी घटकर 18.97 फीसद ही रह गई है। नौगावां सादात सीट को छोड़ शेष छह सीट पर पार्टी के वोटों की हिस्सेदारी कम ही हुई है।
जानकारों का कहना है कि भाजपा पहले ही पार्टी के दलित वोट में सेंध लगाने के साथ ही पिछड़ों को अपने पाले में करने में कामयाब रही है। कई बड़े नेताओं द्वारा बसपा का साथ छोडऩे से भी पार्टी का नुकसान हो रहा है। पार्टी के लिए सबसे बड़ा मुस्लिम मतों का नुकसान मायावती का हालिया वह बयान माना जा रहा है, जिसमें उन्होंने सपा को हराने के लिए भाजपा के भी साथ जाने में गुरेज न करने की बात कही थी। हालांकि, उपचुनाव के लिए मतदान से ठीक पहले मायावती ने अपने बयान से यू-टर्न कर लिया था, लेकिन नतीजों से साफ लग रहा है कि मुस्लिम मतदाताओं ने उसे अनसुना करते हुए बसपा से दूरी बनाए ही रखी।
उपचुनाव वाले विधानसभा क्षेत्रों में बसपा को मिले वोट (प्रतिशत में)
विस क्षेत्र : 2017 में वोट : 2020 में वोट
नौगावां सादात : 17.24 : 18.48
बुलंदशहर : 36.33 : 33.08
टूंडला : 25.81 : 22.62
बांगरमऊ : 22.34 : 10.94
घाटमपुर : 25.18 : 21.56
देवरिया : 16.07 : 12.98
मल्हनी : 22.34 : 12.15
कुल : 23.62 : 18.97