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कोरोना संक्रमण से जरूरी भविष्य, बिहार से भाई को परीक्षा दिलाने 170 किलोमीटर की दूरी नापी

गाजीपुर न्यूज़ टीम, वाराणसी। कोरोना महामारी के ऐसे संकट में अपने भविष्य को संवारने के लिए बाइक से 170 किलोमीटर की दूरी तय कर बिहार में भभुआ से भगवान बुद्ध की प्रथम उपदेश स्थली सारनाथ में संयुक्त प्रवेश परीक्षा जेईई मेन की मुख्य परीक्षा में शामिल हुए। भभुआ बिहार के निवासी अंकुर ने अपने छोटे भाई शिवम को डेढ सौ किमी से अधिक की दूरी नापकर परीक्षा दिलाई। अंकुर बताते हैं कि कोरोना सक्रमण से अधिक महत्व अपना भविष्य है। कोरोना काल मे बाइक ही सबसे सुरक्षित साधन है।
अंकुर अपने छोटे भाई शिवम को बाइक से मोहनिया, दुर्गावती, नोबतपुर, चंदौली, अलीनगर, मुग़लसराय, पड़ाव, राजघाट होते लंका मंगलवार की शाम को पहुंच कर एक लाज में ठहरे। बुधवार की सुबह वह सारनाथ में बने परीक्षा केंद्र पर पहुंचे। अंकुर का कहना है कि बसों का आवागमन जरूर है लेकिन बसों में सफाई व्यवस्था नहीं है। बसों को सैनेटाइज भी नहीं किया जाता है और शारीरिक दूरी के मानक का पालन भी नहीं किया जा रहा है। ऐसे में संक्रमण की अधिक संभावना की वजह से बस का प्रयोग नहीं किया। इस कोरोना काल में बाइक ही सबसे सुरक्षित साधन है। वहीं दूसरी तरफ अम्बेडकर नगर के सत्य प्रकाश पांडेय अपने पुत्र हर्ष को बाइक से 160 किलोमीटर की दूरी तय कर परीक्षा दिलाने पहुंचे थे। उनका कहना है कि सभी प्रतियोगी परीक्षाएं हो लेकिन सावधानी और सुरक्षा के साथ।

 
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