राजधानी में एआरएम समेत 392 संक्रमित, पांच की मौत; लखनऊ में टूटा रिकॉर्ड
गाजीपुर न्यूज़ टीम, लखनऊ। राजधानी में रविवार को एआरएम समेत 392 लोगों में कोरोना की पुष्टि हुई। एक दिन में सर्वाधिक मरीज मिलने का रिकॉर्ड रहा। ऐसे में स्वास्थ्य महकमे से शासन तक अफरातफरी मची रही। एआरएम समेत कई रोडवेज कॢमयों का सैंपल संग्रह किया गया था। इसमें एआरएम व एक अन्य कर्मी में कोरोना की पुष्टि हुई है। क्षेत्रीय प्रबंधक पल्लव बोस ने इसकी पुष्टि की। वहीं, नगर निगम के वरिष्ठ लिपिक में कोरोना की पुष्टि हुई। मोती नगर निवासी एलडीए रिटायर्ड कर्मी में भी संक्रमण पाया गया। इसी तरह इंदिरानगर, गोमती नगर में कई मरीज पाए गए।
वहीं महानगर में पांच सदस्यीय परिवार वायरस की जद में आ गया। यहीं नहीं पारा, एलडीए कॉलोनी, महानगर, सीतापुर रोड, रायबरेली रोड, हरदोई रोड के कई मरीज वायरस की चपेट में आए। एक दिन में 392 मरीज आने से सीएमओ दफ्तर की व्यवस्था चरमराई गई। किस इलाके के कितने मरीज हैं, यह ब्योरा ही नहीं दे सका।
मौत का आंकड़ा 53 पहुंचा
रविवार को पांच और लोगों की कोरोना से सांसें थम गईं। इसमें एक रेलवे अफसर व संघ के बुजुर्ग पदाधिकारी की मौत हो गई। बलरामपुर अस्पताल के निदेशक डॉ. राजीव लोचन के मुताबिक राजेंद्र नगर नवासी 84 वर्षीय संघ पदाधिकारी को बुखार-सांस की समस्या हुई। शुक्रवार को उन्हें अस्पताल लगा गया। जांच में कोरोना की पुष्टि हुई। इलाज के दरम्यान उनकी मौत हो गई। ऐसे में संपर्क में आए आठ लोगों की जांच की गईं। एक प्रचारक में भी कोरोना की पुष्टि हुई है। वहीं केजीएमयू के प्रवक्ता डॉ. संदीप तिवारी के मुताबिक हुसैनगंज निवासी 55 वर्षीय महिला को संक्रामक रोग यूनिट में भर्ती किया गया।
उनमें कोरोना की पुष्टि हुई। इलाज के दरम्यान रविवार को सांसें थम गईं। इसके अलावा रेलवे के सेक्शन ऑफीसर की केजीएमयू में मौत हो गई। लोहिया संस्थान के प्रवक्ता डॉ. श्रीकेश के मुताबिक 14 जुलाई को मुंशीपुलिया निवासी 60 वर्षीय बुजुर्ग को भर्ती कराया गया। इलाज के दरम्यान उन्हें सांस लेने में तकलीफ होने लगी। आइसीयूू में भर्ती कर इलाज किया गया। वहीं माल के पीरनागर गांव की करोना पीड़ित महिला का एरा मेडिकल काॅलेज में निधन हो गया। सप्ताहभर पहले जांच में कोरोना पॉजिटिव पाया गया था।
मेल नर्स की मौत
शहर के एक निजी अस्पताल में तैनात मेल नर्स की शनिवार देर रात मौत हो गई। उसे बुखार तीन दिन से आ रहा था। इसके बाद दस्त आने लगे। ड्यूटी करने वाले अस्पताल में इलाज को पहुंचा। उसकी मौत हो गई।
स्वास्थ्य विभाग के आंकड़ों में 47 मौतें
शहर के सरकारी अस्पतालों में मरीजों की सांसें थम रही हैं। वहीं स्वास्थ्य विभाग के आंकड़े पीछे चल रहे हैं। स्थिति यह है कि रविवार को शहर में कोरोना से मृतकों की संख्या 53 पहुंच गई है। मगर, विभाग के आंकड़ों में 47 पर टीकी है। यही नहीं रविवार को तीन मौत के बजाए दो ही दर्ज की गई हैं। पुरानी मौतें भी अपडेट नहीं हुई हैं।
शासन नाराज, अफसर छिपाने लगे आंकड़ा
शहर में कोरोना मरीजों की संख्या 3923 हो गई है। इसमें जुलाई में मरीजों का रिकॉर्ड टूट गया। अब तक सर्वाधिक एक दिन में मरीजों की संख्या 308 थी। वहीं रविवार को 392 हो गई। एक जुलाई से 19 जुलाई तक सिर्फ मरीजों का आंकड़ा 2,676 हो गया है। सीएमओ दफ्तर की भारीभरकम टीम कागजों में तैयारी पुख्ता दिखाकर शासन को भेजती रही। जमीनी कार्रवाई में लापरवाही चरम पर रही। वहीं, मरीजों की भरमार से अव्यवस्था उजागर हो गई। शासन से फटकार पड़ी। ऐसे में अब अफसर मरीजों का ब्योरा ही छिपाने लगे।