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बनारस का ये है मलेरिया विभाग का हाल, कैसे बचाएं जनता को?

गाजीपुर न्यूज़ टीम, वाराणसी. हर जिले में मौजूद मलेरिया विभाग बारिश से पहले ये तस्दीक करता है कि हर घर के आसपास पानी जमा न होने दें, ताकि डेंगू, मलेरिया जैसे मच्छर न पनप सकें. लेकिन वाराणसी में मानसून की पहली बारिश से ही खुद मलेरिया विभाग चारों तरफ से पानी में घिरा है. जिसमे मच्छर पनप रहे हैं. ये खबर खुद मलेरिया विभाग के निर्देश और फरमानों पर सवाल खड़े करती है. ये तस्वीर है वाराणसी के मलेरिया विभाग की. दुर्गाकुंड इलाके में मौजूद मुख्य चिकित्साधिकारी कैंपस में मलेरिया विभाग का कार्यालय है. कोरोना से संक्रमण लगातार बढ़ रहा है. ऐसे में मानसूनी बारिश के बाद हर साल की तरह इस बार भी डेंगू, मलेरिया के खतरे की घंटी बजा दी है. मलेरिया विभाग की ओर से एहतियात और निर्देश जारी हो गए हैं. निर्देश यह कि पानी न जमा होने दें ताकि ऐडीज मच्छर न पनप सके.

CMO ऑफिस में है मलेरिया विभाग का दफ्तर
हर साल डेंगू से कई लोगों की मौत हो जाती है. बावजूद इसके, खुद विभाग की ये तस्वीरें हैरान करने वाली हैं. तस्वीरों में आप देखिए, कैसे कबाड़ के बीच पूरा का पूरा दफ्तर ही गंदे पानी से चारों तरफ घिरा है. यहां आने वाले लोग और कर्मचारी इसी गंदे पानी से होकर गुजरते हैं. दफ्तर के मुख्य गेट पर जुगाड़ के रूप में कुछ ईंटे रखी गई हैं, जिससे होकर लोगों को गुजरना पड़ता है. सवाल खड़ा ये होता कि ये दफ्तर जिले में स्वास्थ्य के सबसे बड़े अफसर सीएमओ के कैंपस में हैं. दूसरा ये कि जनता को डेंगू और मलेरिया से बचने के लिए जो विभाग एहतियात बरतने की सीख देता है, उसके दफ्तर में जब ऐसा हाल होगा तो फिर बाकी जगह के हालात समझे जा सकते हैं.

जिला मलेरिया अधिकारी एससी पांडे ने बताया कि इसके लिए नगर निगम को कहा गया है. चारों ओर से पानी में घिरे दफ्तर के ऐसे हाल पर कर्मचारी भले ही कैमरे के सामने बोलने से बच रहे थे, लेकिन दबी जुबान में सभी इस दिक्कत और मच्छरों से परेशान हैं. फाइलों के आंकड़े बताते हैं कि डेंगू की जद में आकर कितने लोगों को जान गंवानी पड़ती हैं और कितने लोग निजी अस्पतालों की महंगे इलाज से तबाह होते हैं. बावजूद इसके, जिला प्रशासन भविष्य के इस संकट पर संजीदा नहीं दिख रहा है.
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