कोरोना महामारी से जूझ रही दो मांओं के नवजात बच्चों को बचाया
गाजीपुर न्यूज़ टीम, कोरोना के खौफ के बीच राजधानी दिल्ली के दो अस्पतालों से अच्छी खबरें आई हैं। दो कोरोना पीड़ित महिलाओं का डॉक्टरों ने सुरक्षित प्रसव कराया और जांच में उनके बच्चे कोरोनामुक्त पाए गए। एक मामला एम्स से तो दूसरा राम मनोहर लोहिया अस्पताल (आरएमएल) अस्पताल से जुड़ा है।
एम्स में बच्चे स्वस्थ: एम्स में कोरोना संक्रमित महिला ने कुछ दिन पहले स्वस्थ्य बच्चे को जन्म दिया। बच्चे की दो बार जांच में संक्रमण की पुष्टि नहीं हुई।
एम्स के प्रसूति रोग विभाग की अध्यक्ष डॉक्टर नीरजा बाटला का कहना है कि बच्चे को एहतियात रखकर मां का स्तनपान कराया जा रहा है और दोनों एकदम स्वस्थ हैं। महिला एम्स के ही एक डॉक्टर की पत्नी है। डॉक्टर दंपति कोविड 19 से संक्रमित हो गए थे।
आरएमएल में जन्मे बच्चे की रिपोर्ट निगेटिव : राम मनोहर लोहिया अस्पताल में इसी हफ्ते कोरोना पीड़ित मां ने बच्चे को जन्म दिया है। अस्पताल के नियोनेटोलॉजी विभाग के डॉक्टर राहुल चौधरी ने बताया कि बच्चे की कोरोना जांच रिपोर्ट नकारात्मक है। डॉक्टर राहुल ने बताया कि महिला पहले सात बार गर्भवती हो चुकी थी लेकिन हर बार बच्चा मर जाता था। इस बार जब बच्चा हुआ तो वह कोरोना पीड़ित भी थी। अभी बच्चे की तबीयत बेहतर है और उसे संक्रमण भी नहीं हुआ है।
गर्भनाल के जरिए संक्रमण की आशंका: एम्स के डॉक्टर विजय हड्डा ने बताया कि दुनियाभर में हुए अभी तक के शोध के मुताबिक संक्रमित महिला के गर्भनाल के जरिये यह वायरस मां के पेट में पल रहे बच्चे को बीमार कर सकता है। शोध में यह भी सामने आया है कि नवजात बच्चों को कोरोना संक्रमण का खतरा बेहद कम है। अगर वे संक्रमित हो भी जाएं तो उन्हें गंभीर रूप से बीमार होने का खतरा अपेक्षाकृत कम होता है।