लॉकडाउन के बाद भी उत्तर प्रदेश में लगातार बढ़ते जा रहे पॉजिटिव केस, अब तक 1328
गाजीपुर न्यूज़ टीम, लखनऊ, जानलेवा कोरोना वायरस के संक्रमण को रोकने के बड़े जतन के बाद भी उत्तर प्रदेश में स्थिति काबू में नहीं आ रही है। सोमवार को जहां 126 नये पॉजिटिव केस मिले थे, वहीं मंगलवार को भी सुबह से ही पॉजिटिव की रिपोर्ट भी बढ़ती जा रही है। प्रदेश के 52 जिलों में इसका असर है, जबकि 20 की मौत के बाद भी आज सुबह तक पॉजिटिव की संख्या 1328 पहुंच गई है।
किंग जार्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी के साथ ही आगरा, मुरादाबाद, मेरठ व कानपुर मेडिकल कॉलेज की रिपोर्ट में मंगलवार को भी तीन दर्जन से अधिक नये मामले मिले हैं। दिल्ली की तब्लीगी जमात के बाद लौटे लोगों ने अपना रंग दिखा दिया है। आज आगरा में 28, मुरादाबाद में 15, अमरोहा में सात, मेरठ में पांच, औरैया में तीन, लखनऊ में दो तथा अन्य शहरों में एक-एक पॉजिटिव केस मिलने से अब प्रदेश में कोविड-19 से संक्रमित 1295 लोग हैं। प्रदेश के अब 52 जिले कोरोना वायरस की चपेट में हैं।
किंग जार्ज मेडिकल कॉलेज में आज 754 सैंपल की रिपोर्ट जारी की गई। जिसमें मेरठ के पांच, लखनऊ के दो तथा आगरा का एक पॉजिटिव केस है। लखनऊ में दो और की रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। अब यहां संख्ता 181 हो गई है। जिसमें 71 जमाती हैं। संक्रमण की चपेट में आए कानपुर में किदवई नगर की महिला में कोरोना के संक्रमण की पुष्टि हुई। अब कानपुर में संक्रमितों की संख्या 77 हो गई है।
रायबरेली में 33 में से 31 जमाती
रायबरेली में 33 लोगों की रिपोर्ट कोरोना पॉजिटिव रिपोर्ट आने से जिला प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग में खलबली मच गई है। सीडीओ ने 33 लोगों में कोरोना पॉजिटिव होने की पुष्टि की है। यहां अब तक 35 लोग पॉजिटिव हैं। इनमें 15 लोग सहारनपुर के रहने वाले हैं, ऐसा रिपोर्ट में बताया गया है। जबकि पुलिस महकमे के मुताबिक 33 में से 31 जमाती हैं। दो केस स्थानीय हैं, जिन्हें इन लोगों के साथ क्वारंटाइन सेंटर में रखा गया था। अब रायबरेली में कोरोना पॉजीटिव मरीजों की संख्या 35 पहुंच चुकी है। करीब 10 दिन पहले सहारनपुर के दो जमातियों में कोरोना पॉजिटिव पाया गया था। जिन्हें ऊंचाहार से जिला अस्पताल और वहां से लखनऊ रेफर कर दिया गया था। इसके बाद से जिले में करीब तीन सौ जांच हुईं। उनमें किसी में पॉजिटिव रिपोर्ट नहीं आई। यहां पर अचानक 33 लोगों की रिपोर्ट पॉजिटिव आने से लोगों की नींद उड़ गई है। जिनकी रिपोर्ट पॉजिटिव आई है वह सभी कृपाल इंस्टीट्यूट,मुंशीगंज में क्वॉरेंटाइन में हैं।
आगरा में 29 और मिले, आंकड़ा 296
कोरोना वायरस को लेकर ताजनगरी के हालात अब नियंत्रण से बाहर हो चुके हैं। मंगलवार सुबह 28 नए केस सामने आने के बाद आंकड़ा 295 पर पहुंच गया है। इससे पहले सोमवार रात 14 केस रिपोर्ट हुए थे। यहां पर 32 डिस्चार्ज हो चुके हैं, जबकि इलाज करा रहे कुछ मरीजों की रिपोर्ट निगेटिव आई है। जिलाधिकारी प्रभु एन सिंह ने 29 केस बढऩे की पुष्टि की है।
औरैया में आगरा के पारस हॉस्पिटल से बड़ी बहन का इलाज कराकर लौटा सब्जी विक्रेता संक्रमित हो गया है। इसके साथ जांच में उसकी भाभी भी संक्रमित है। निकली। रात में आई दूसरी रिपोर्ट में दिबियापुर के मोहल्ला कृष्णा नगर में रहने वाली बहन व भांजा भी संक्रमित निकला। जनपद में कोरोना संक्रमित लोगों की संख्या 12 पहुंच गई है। यहां पर लॉकडाउन में मिली सशर्त खत्म कर दी गई है। कृष्णा नगर मोहल्ले के तीन किलोमीटर एरिया को सील किया जा रहा है।
मुरादाबाद में 15 और अमरोहा में पांच जमाती समेत सात लोगों की रिपोर्ट पॉजिटिव आई। इसके बाद अमरोहा जिले में 17 संक्रमित हो गए। रामपुर में टांडा क्षेत्र के रहने वाले युवक और उसके मृतक पिता की रिपोर्ट पॉजिटिव आने के बाद संक्रमितों की संख्या 16 पहुंच गई है। बस्ती बस्ती में एक और महिला कोरोना पॉजिटिव पाई गई है। बस्ती में कोरोना पीडि़तों की संख्या बढ़कर 20 हो गई है। शनिवार को 66 कोरोना संदिग्धों के नमूने जांच के लिए बीआरडी मेडिकल कालेज गोरखपुर भेजे गए थे। 65 की रिपोर्ट निगेटिव आई है। एक महिला कोरोना पॉजिटिव पाई गई है। महिला की उम्र 45 साल है।
अलीगढ़ में कोरोना संदिग्ध सीधे पहुंचा डॉक्टर-मरीजों के बीच
अलीगढ़ के जेएन मेडिकल कॉलेज के ट्रॉमा सेंटर में बड़ी लापरवाही सामने आई है, जिससे शहर का सुरक्षा कवच टूट गया है। संदिग्ध मरीजों की जांच के लिए यहां डॉक्टरों की दो स्तरीय टीम रहती है, लेकिन कोविड -19 के संदिग्ध को एक प्रोफेसर के दबाव में सीधे भर्ती कर लिया गया। महिला डॉक्टर ने बिना मास्क के ही मरीज को अटेंड किया। मामले से जिला प्रशासन को अंधेरे में रखा। अब कॉलेज को नोटिस जारी किया गया है। सरकार के आदेश पर सामान्य ओपीडी को बंद कर फीवर ओपीडी शुरू की गई, ताकि बुखार, जुकाम, नजला व खांसी के मरीजों को अलग देखा जा सके। ट्रॉमा सेंटर में इमरजेंसी के मरीजों को देखा जा रहा है।
ट्रामा में संदिग्ध मरीजों की पहचान गेट पर ही करने के लिए डॉक्टरों की दो सदस्यीय टीम लगाई गईं। रविवार को यहां पहुंचे उस्मानपाड़ा के कोरोना संक्रमित के मामले में ऐसा नहीं हुआ। मरीज को सीधे ही अंदर ले जाया गया। जहां सीनियर व जूनियर डॉक्टरों ने उसे अटेंड किया। संदिग्ध लगने पर मरीज को आइसोलेशन वार्ड में शिफ्ट किया गया। कोरोना की जांच के लिए सैंपल भी लिया गया। मेडिकल कॉलेज की व्यवस्था के अनुसार केस स्टडी के आधार पर मरीज को पहले ही आइसोलेशन में ले लेना चाहिए था।