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499 साल बाद बन रहा होली पर गजकेसरी योग, राहु-केतु और शनि दोष से मुक्ति के लिए होलिका दहन के दौरान करें ये उपाय

होली २०२० (Holi 2020): .इस साल 2020 में जब होली मनाई जाएगी, उस समय बृहस्पति अपनी राशि धनु तथा शनि अपनी राशि मकर में स्थित होंगे. यह एक प्रबल योग है.
होली २०२०, गजकेसरी योग (Holi 2020, Gaj Kesari Yog): होली का त्यौहार रंगों से भरा त्योहार है, जो जीवन में नीरसता को हटाकर रंग बिरंगे रंगों से जीवन में ख़ुशियों को भर देता है. प्रतिवर्ष हमें इस खूबसूरत त्यौहार की प्रतीक्षा रहती है क्योंकि इस दिन दुश्मन भी गले मिलकर दोस्त बन जाते हैं और सारे गिले-शिकवे दूर हो जाते हैं. वास्तव में यह अखंड भाईचारे का त्योहार भी है. जाति, धर्म - मज़हब की बंदिशों को तोड़ कर सभी लोग एक दूसरे से गले मिलकर रंग और गुलाल लगाते हैं और एक दूसरे को मिठाई खिलाते हैं, जिससे उनके बीच की दूरियां भी समाप्त हो जाती हैं.

499 साल बाद बन रहा विशेष ग्रह संयोग:
इस होली की खास बात यह है कि इस बार ग्रहों का एक विशेष योग बन रहा है, जो 499 साल बाद निर्मित हो रहा है.इस साल 2020 में जब होली मनाई जाएगी, उस समय बृहस्पति अपनी राशि धनु तथा शनि अपनी राशि मकर में स्थित होंगे.यह एक प्रबल योग है जो दोनों ही बड़े ग्रहों की मजबूत स्थिति से बनने वाला एक विशेष ग्रह संयोग है.इससे पहले होली पर यह योग 3 मार्च 1521 को बना था.

गजकेसरी योग से पाएं अपार लक्ष्मी:
यदि आगे की बात करें तो ग्रह दशा के अनुसार होली के दिन गजकेसरी योग भी निर्मित हो रहा है.यह योग तब बनता है, जब बृहस्पति ग्रह चंद्रमा से केंद्र भाव में स्थित होता है. होली वाले दिन बृहस्पति धनु राशि में और चंद्रमा कन्या राशि में स्थित होंगे, जो कि बृहस्पति की चंद्रमा से केंद्रीय स्थिति है, इसलिए विलक्षण गजकेसरी योग का निर्माण होगा.यह एक अत्यंत प्रभावशाली शुभ और लक्ष्मी देने वाला महायोग है.इस योग के प्रभाव से आपको होली और उसके बाद उत्तम धन की प्राप्ति होगी और आप लक्ष्मीवान बनेंगे.(साभार- AstroSage)
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