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इंस्पेक्टर के लिए बढ़ेंगे PPS अफसर बनने के मौके, PPS संवर्ग का जल्द हो सकता पुनगर्ठन

गाजीपुर न्यूज़ टीम, लखनऊ, उत्तर प्रदेश में प्रांतीय पुलिस सेवा (पीपीएस) में पदोन्नति और वेतन विसंगतियों को दूर करने के लिए शासन स्तर पर शुक्रवार को एक बार फिर गहन मंथन हुआ। अपर मुख्य सचिव गृह अवनीश कुमार अवस्थी की अध्यक्षता में पीपीएस संवर्ग में वर्तमान पदों के सापेक्ष पुनगर्ठन पर सिलसिलेवार विचार-विमर्श हुआ। पीपीएस संघ ने अपने संवर्ग के कुल पदों के 50 फीसद पद पदोन्नति से भरे जाने का मुद्दा उठाया। शासन स्तर पर इसे लेकर जल्द निर्णय किए जाने की उम्मीद है। इससे इंस्पेक्टर के लिए पदोन्नति पाकर पीपीएस अधिकारी बनने के मौके बढ़ेंगे। साथ ही पीपीएस संवर्ग में सीधी भर्ती के अधिकारियों को भी जल्द पदोन्नति का लाभ मिलेगा।

उत्तर प्रदेश की योगी सरकार में पुलिस कल्याण के कई बड़े कदम उठाए गए हैं। पीपीएस संवर्ग में पदोन्नति संबंधी समस्याओं के निराकरण का प्रयास भी लगातार चल रहा है। अपर मुख्य सचिव गृह ने वर्तमान पदों के सापेक्ष पुनगर्ठन तथा उप्र पुलिस सेवा नियमावली 2016 में संशोधन के प्रस्ताव को विस्तार से सुना और उस पर जल्द ठोस निर्णय भरोसा दिलाया। संघ के पदाधिकारियों ने प्रस्तुतीकरण भी दिया। बताया कि पीपीएस संवर्ग में कुल 1328 पद हैं। पीपीएस संवर्ग में भर्ती के लिए इंट्री लेवल (5400 ग्रेडपे) होता है, जिसके 778 पद हैं।

संघ ने निरीक्षक से पदोन्नति पाकर पीपीएस संवर्ग में आने के लिए पीपीएस संवर्ग के कुल 1328 पदों का पचास फीसद तय किए जाने की मांग की है। वर्तमान में इंट्री लेवल के 778 पदों के 50 फीसद यानी 389 पदों पर ही निरीक्षक को पीपीएस संवर्ग में पदोन्नति का मौका मिल पाता है। संघ ने कैडर की दशा सुधारने के लिए इसके अलावा कुल पदों में 40 फीसद पद सीधी भर्ती व 60 फीसद पद पदोन्नति से भरे जाने का प्रस्ताव भी रखा। दोनों ही स्थितियों में निरीक्षक से पदोन्नति पाकर पीपीएस संवर्ग में जाने के मौके बढ़ेंगे। पदोन्नति पाकर पीपीएस अधिकारी बनने वाले भी उच्च वेतनमान तक पहुंच सकेंगे। उनके पास भी एएसपी बनने का अवसर होगा। इससे सीधी भर्ती वाले पीपीएस अधिकारियों को भी पदोन्नति में लाभ मिलेगा। 

पीसीएस संवर्ग से पिछड़ते चले गए पीपीएस
बैठक में समय पर व नियोजित कैडर रिव्यू न होने की वजह से पीसीएस संवर्ग के मुकाबले पीपीएस संवर्ग के पिछड़ने की तस्वीर भी रखी गई। बताया गया कि 7600 के ग्रेड पे पर पीपीएस संवर्ग के 2003 बैच के अधिकारी पहुंचे हैं, जबकि पीसीएस संवर्ग में इस ग्रेड पे में 2009 बैच के अधिकारी हैं। ऐसे ही 8700 के ग्रेड पे में पीपीएस संवर्ग के 1993 बैच के अधिकारी और पीपीएस संवर्ग में 2003 बैच के अधिकारी हैं। 8900 के ग्रेड पे में पीपीएस के 1992 बैच के और पीसीएस के 2000 बैच के अधिकारी हैं। 10,000 के ग्रेड पे में पीपीएस के 1991 बैच के और पीसीएस के 1996 बैच के अधिकारी हैं। बताया गया कि पीपीएस संवर्ग में कुल पदों के 50 फीसद पद पदोन्नति से भरे जाने की व्यवस्था है।

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