गाजीपुर: गंगा खतरे के निशान के बिल्कुल करीब
गाजीपुर न्यूज़ टीम, गाजीपुर गंगा में बढ़ाव का क्रम जारी है। मंगलवार की शाम जिला मुख्यालय पर जलस्तर 62.75 मीटर तक पहुंच चुका था। गंगा खतरे के निशान से महज 35 सेंटीमीटर नीचे हैं। केंद्रीय जल आयोग की स्थानीय इकाई के मुताबिक गंगा प्रति घंटा तीन सेंटीमीटर की रफ्तार से बढ़ रही है। गंगा के तटवर्ती हिस्से के नीचले इलाकों में पानी भरने लगा है। कटान भी शुरू हो गया है। सदर ब्लाक की जैतपुरा और मुहम्मदाबाद ब्लाक के सेमरा में कटान होने लगा है। वैसे कटान की रफ्तार धीमी है।
सिंचाई (बाढ़) विभाग के एक्सईएन राजेश शर्मा ने ऊपर प्रयागराज में गंगा की स्थिति के बारे में फिलहाल अधिकृत जानकारी देने में असमर्थता जताई, लेकिन ऑन लाईन मीडिया के मुताबिक राजस्थान और उत्तराखंड में भारी बारिश का पानी गंगा-यमुना के रास्ते प्रयागराज पहुंचने की संभावना है। दोनों राज्य का पानी एक साथ पहुंचा तो तय है कि गंगा के किनारे की आबादी बाढ़ से जुझेगी। हथिनीकुंड से दो दिन में छोड़ा गया आठ लाख क्यूसेक से अधिक पानी भी यमुना के रास्ते गंगा में पहुंचेगा।
इधर गंगा में बाढ़ को लेकर प्रशासन अलर्ट है। डीएम के बालाजी ने सभी जिला स्तरीय अधिकारियों को बगैर इजाजत मुख्यालय नहीं छोड़ने का आदेश दे दिया है। छुट्टी गए अधिकारियों को भी लौटने को कहा है। बाढ़ कंट्रोल रूम स्थापित कर दिया गया है। गंगा में नौका परिचालन पर पहले से ही रोक लगा दी गई है। उधर एसडीएम जमानियां रमेश मौर्य ने बताया कि चक्काबांध में लगे गेज के हिसाब से गंगा खतरे के निशान से करीब तीन मीटर नीचे हैं। शाम तीन बजे जलस्तर 64.50 मीटर दर्ज हुआ। खतरा का निशान 67.30 मीटर है। श्री मौर्य ने बताया कि तहसील क्षेत्र में सभी १३ बाढ़ चौकियों को सक्रिय कर दिया गया है। तहसील मुख्यालय पर कंट्रोल रूम स्थापित हो गया है। सब्बलपुर कलॉ में गंगा के बीच टापू पर बसे लोगों के करीब 100 पशुओं को सुरक्षित निकाल लिया गया है। एक सवाल पर एसडीएम जमानियां ने बताया कि कर्मनाशा नदी में बाढ़ की गुंजाइश नहीं है।
कठवा पुल पर रोके गए भारी वाहन
गंगा के बढ़े पानी के फ्लो बैक से सहयोगी नदियों का पानी ऊपर आने लगा है। बेसो नदी का बढ़ा पानी मंगलवार की सुबह अस्थाई कठवा पुल पर आ गया, लिहाजा डीएम के आदेश पर अनिश्चित काल के लिए भारी वाहनों का परिचालन रोक दिया गया है। उसकी वजह से मुहम्मदाबाद, कासिमाबाद तहसील क्षेत्र सहित बलिया, बिहार की ओर जाने भारी वाहनों को अतिरिक्त दूरी तय करने के लिए समय जाया करना पड़ रहा है।